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एसजेवीएन लिमिटेड द्वारा नगर राजभाषा कार्यान्वयन समिति,
शिमला (कार्यालय-2)के
सदस्य कार्यालयों के कर्मियों हेतु राजभाषा सेमिनार का आयोजन
भारत सरकार की राजभाषा नीति संबंधी प्रावधानों से कर्मचारियों एवं अधिकारियों को अवगत कराने,
बिना किसी असुविधा के अपना कामकाज हिन्दी में करने और तकनीकी कार्य हिन्दी में करते समय आने वाली भाषा संबंधी समस्याओं का समाधान प्राप्त करने के उद्देश्य से नराकास,शिमला
(कार्यालय-2)के सदस्य कार्यालयों के कर्मियों हेतु दिनांक
4जुलाई,2018
को राजभाषा सेमिनार का आयोजन किया गया। इस सेमिनार में मुख्य वक्ता के रूप में श्री प्रेम सिंह,पूर्व संयुक्त निदेशक
(कार्यान्वयन),विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी विभाग,भारत
सरकार,नई दिल्ली तथा श्री प्रवीण चांदला,
पूर्व सहायक निदेशक (राजभाषा), केन्द्रीय आलू अनुसंधान संस्थान,
शिमला को आमंत्रित किया गया । अध्यक्षीय वक्ता के रूप में श्री सलिल शमशेरी, महाप्रबंधक (आईटीएंडएसई) तथा अन्य वक्ता
के रूप में श्रीमती मृदुला श्रीवास्तव, वरिष्ठ प्रबंधक (राजभाषा) एवं श्री नरेन्द्र निनावे,
सहायक प्रबंधक, राजभाषा अनुभाग भी उपस्थित थे।

इस सेमिनार में अध्यक्षीय वक्ता महोदय का स्वागत श्री नवनीत कालिया, उप महाप्रबंधक (हाईड्रोलोजी ) ने कियाI तत्पश्चात सेमिनार के विधिवत् उद्घाटन के दौरान
श्रीमती श्रीवास्तव ने अध्यक्ष महोदय सहित आमंत्रित वक्ताओं का स्वागत करते हुए कहा कि इस सेमिनार का उद्देश्य भारत सरकार की राजभाषा नीति संबंधी अपेक्षाओं,प्रावधानों से आपको अवगत कराना है। कार्यक्रम के अध्यक्ष महाप्रबंधक (आईटीएंडएसई),
एसजेवीएन लि. ने श्री सलिल शमशेरी ने कहा कि राजभाषा हिन्दी को प्रभावी ढंग से लागू करने के उद्देश्य से ही इस सेमिनार का आयोजन किया जा रहा है
I उनका कहना था कि भारत सरकार द्वारा प्रत्येक वर्ष जारी वार्षिक कार्यक्रम को ध्यान में रखते हुए हमें लक्ष्य निर्धारित कर निरंतर प्रयासरत रहना है
I सेमिनार में नराकास (कार्यालय-2) शिमला स्थित विभिन्न सदस्य कार्यालयों के
32 अधिकारियों/कर्मचारियों ने भाग लिया।
सेमिनार में आमंत्रित मुख्य अतिथि के रूप में आमंत्रित श्री प्रेम सिंहराजभाषा
हिन्दी में कार्य करने की आवश्यकता - एक दृष्टि तथा हिन्दी का बदलता स्वरूप एवं पारिभाषिक शब्दावली के नए आयाम आदि विषय पर व्याख्यान दिया। विशिष्ट वक्ता श्री चांदला ने भारत सरकार की राजभाषा नीति संबंधी सांविधिक अपेक्षाएं एवं वार्षिक कार्यक्रम आदि विषय पर
प्रतिभागियों को संबोधित किया। इसी प्रकार श्री शमशेरी ने अपने वक्तव्य में कहा कि हमें हिंदी में कार्य करने में किसी भी प्रकार की समस्या नहीं होनी चाहिए,
सहज, सरल हिन्दी का प्रयोग करते हुए हमें हिन्दी में कार्य की गति बढ़ानी चाहिए
I श्रीमती श्रीवास्तव ने कार्यालयीन कार्यों में हिन्दी का प्रयोग- समस्याएं एवं समाधान विषय पर व्याख्यान देने के
अतिरिक्त उन्होंने हिंदी की वैश्विक स्थिति और उसके परिदृश्य से भी प्रतिभागियों को परिचित करवाया
I सेमिनार में श्री निनावे ने यूनिकोड के माध्यम से कंप्यूटर पर हिन्दी में कार्य करने की पद्धति से संबंधित जानकारी
को दृश्य-श्रव्य माध्यम से प्रतिभागियों को विस्तार से बताया व यूनिकोड के माध्यम से कंप्यूटर/पीसी पर अभ्यास भी करवाया गया
I
सेमिनार के अंत में श्री राजबीर टाया, राज्य प्रबंधक,
हि.प्र., नेशनल फर्टिलाइजर्स लिमिटेड,
शिमला ने धन्यवाद ज्ञापन प्रस्तुत किया I
श्रीमती श्रीवास्तव ने निगम की ओर से औपचारिक धन्यवाद दिया
I सेमिनार का मंच संचालन सुश्री मॄदुला श्रीवास्तव,वरि.
प्रबंधक (राजभाषा) ने किया I सेमिनार के आयोजन में राजभाषा अनुभाग के कर्मियों का सहयोग विशेष सराहनीय रहा ।